बुधवार, फ़रवरी 27, 2008

पारस पीपल

डा० साहब आपके ब्लाग पर गया, टिप्पणी करनी चाही पर ना जाने क्यों वो प्रकाशित नही हो पाई। आपसे एक प्रश्न है, कि क्या ये औषधि धूम्रपान पर भी उतनी ही कारगर है? यदि हां तो मुम्बई में कहां से मंगाई जा सकती है, मतलब ऐसे कौनसे स्थान हैं जहां पर ये दवाई उपलब्ध है।
धन्यवाद
अंकित माथुर
अंकित भइया ,टिप्पणी क्यों नहीं हो पाई ये तो माइक्रोसाफ़्ट वाले ही समझ सकते हैं रही बात धूम्रपान पर भी कारगर है का क्या अर्थ है ? आप पारस पीपल की ही बात कर रहे हैं न ? एक भड़ासियाना मज़ाक करने की इजाजत दीजिये कि भइया क्या बीड़ी ,सिगरेट या चिलम को चबा कर खा जाते हो और ऊपर से दो लोटा पानी पी लेते हो ? अरे मेरे प्यारे भाई , सौ प्रतिशत कारगर है मेरे चिकित्सा जीवन का निचोड़ है जो आयुषवेद पर लिख रहा हूं यशवंत दादा के कहने से । अपना पता मुझे मेल कर दीजिए मैं ही जंगल से लाकर कूट-पीस कर कुरियर से भेज देता हूं ,संकोच किस बात का है ;लिख भेजिए पता तत्काल-अत्यंत-तुरंत.................

1 आप लोग बोले:

बेनामी ने कहा…

hum apne bete ke lie yah dava chahte hain. kya use bina bataye di jae to koi dikkat hai? banane ki bajay bani hui mil sakegi?

Sandhya